लखनऊ।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि राज्य में स्थापित हो चुके हर आक्सीजन प्लांट में संचालन के लिए कम से कम तीन प्रशिक्षित युवाओं की तैनाती की जाए। उन्होंने कहा कि डेंगू, डायरिया, मलेरिया सहित विभिन्न वायरल बीमारियों से बचाव के लिए सर्विलांस को बेहतर करते हुए हर एक मरीज के स्वास्थ्य की लगातार निगरानी की जाए।
मुख्यमंत्री ने मंगलवार को टीम-9 की बैठक में यह निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि भविष्य की आवश्यकताओं के मद्देनजर प्रदेश में ऑक्सीजन प्लांट स्थापना अभियान स्वरूप में की जा रही है। अब तक स्वीकृत 548 में से 507 प्लांट्स क्रियाशील हो चुके हैं। स्थानीय स्तर पर पैरामेडिक्स व अन्य स्वास्थ्य कर्मियों का भी व्यवहारिक प्रशिक्षण कराया जाए। उन्होंने कहा कि डेंगू, मलेरिया से अस्वस्थ लोगों के उपचार के लिए सभी अस्पतालों में प्रबंध किए गए हैं। व्यापक स्वच्छता, सैनिटाइज़ेशन और फॉगिंग का कार्य सतत जारी रखें। लक्षणयुक्त मरीजों की जांच जरूर की जाए। मुख्यमंत्री ने कहा किसानों को सुगमतापूर्वक डीएपी खाद की उपलब्धता सुनिश्चित कराई जाए। प्रत्येक जिले में मांग-आपूर्ति के बीच संतुलन बनाये रखें। डीएपी के कृत्रिम अभाव की स्थिति बनाने वालों के साथ कठोरता से निपटा जाए। खाद्य तेलों, सब्जियों और दाल आदि के बाजार मूल्य नियंत्रित रखने के लिए सभी प्रयास हों। कालाबाजारी / जमाखोरी के विरुद्ध कठोरतम कार्रवाई की जाए। अतिवृष्टि / बाढ़ के कारण धान व गन्ना सहित जिस भी कृषि उपज का नुकसान हुआ है, राज्य सरकार सबकी क्षतिपूर्ति कर रही है। क्षतिपूर्ति के लिए धनराशि जारी की जा चुकी है, हर प्रभावित तत्काल भुगतान कर दिया जाए। एक भी पात्र किसान क्षतिपूर्ति से वंचित न रहे। मुख्यमंत्री ने कहा कि हाल के दिनों में नगरीय निकायों में शामिल हुए ग्रामीण क्षेत्रों में नगरीय विकास की सभी सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएं। लोगों से संवाद बनाएं। सड़क, पेयजल, सीवर आदि बुनियादी सुविधाओं का लाभ स्थानीय लोगों को मिलना चाहिए। संबंधित नगरीय निकाय इस दिशा में पहल करें।