श्रीनगर। 2012 बैच के आईपीएस अधिकारी के छोटे भाई समेत तीन आतंकियों को सुरक्षा बलों ने मुठभेड़ में मार गिराया। मारे गए आतंकियों के पास से तीन हथियार और गोला-बारूद बरामद किए गए हैं। मुठभेड़ में घायल जवान को अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
सूत्रों ने कहा मंगलवार को सुबह शेरमल गांव में चार से छह आतंकियों को छिपने की सूचना मिली। इसके बाद सेना, सीआरपीएफ और जम्मू-कश्मीर पुलिस के जवानों ने इलाके में तलाशी अभियान शुरू किया। आतंकियों ने जवानों पर गोलीबारी की, जिसके बाद मुठभेड़ शुरू हो गई।
पुलिस ने बताया कि हेफ शेरमल गांव में सुरक्षाबलों के हाथों मारे गए आतंकवादियों में द्रग्गुड गांव का शमसुल मेंगनू भी शामिल है। शमसुल मेंगनू, 2012 बैच के आईपीएस अधिकारी इनामुल हक मेंगनू का छोटा भाई है। हक अभी पूर्वोत्तर में तैनात हैं। शमसुल आतंकी गतिविधि में शामिल होने से पहले श्रीनगर के एक कॉलेज से यूनानी मेडिसीन में स्नातक की पढ़ाई कर रहा था। वहीं मारे गए दो अन्य आतंकियों की पहचान आमिर सुहैल बट और शोएब अहमद के रूप में की गई है। तीनों आतंकी संगठन हिजबुल मुजाहिदी के सदस्य थे। शमसुल के मारे जाने पर टिप्पणी करते हुए राज्य के पूर्व पुलिस महानिदेशक शेष पॉल वैद ने हिजबुल आतंकी का यह दुखद अंत है। उन्होंने कहा, शमसुल के आईपीएस भाई ने उसे मुख्यधारा में लाने की तमाम कोशिशें की थीं। सेना की कार्रवाई में बाधा डालने और आतंकियों को बचाने के इरादे से एक बार फिर मुठभेड़ स्थल पर पत्थरबाजों की भीड़ एकत्र हुई। पत्थरबाजों और सुरक्षाबलों के बीच करीब चार घंटे तक झड़प हुई,जिसमें पांच सुरक्षाकर्मी घायल हो गए। सूत्रों ने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने सुरक्षाबलों की कोशिशों को नाकाम करने की कोशिश की, जिसके बाद सुरक्षाबलों ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले दागे और पेलेट गन का इस्तेमाल किया।