हल्द्वानी। अनीता रावत
लखीमपुर खीरी किसान-पत्रकार अस्थि कलश यात्रा उत्तराखंड के खटीमा से शुरू होकर लखीमपुर खीरी तक जाएगी। संयुकत किसान मोर्चा की ओर से आयोजित यह यात्रा 21 अक्तूबर को शुरू होगा। इस यात्रा को लेकर गुरुवार को खटीमा में संयुक्त किसान मोर्चा के बैनर तले किसान संगठनों की बैठक हुई। यात्रा के अंतिम दिन किसानों के अलावा इस घटना में मृत पत्रकार की अस्थियों को हरिद्वार में गंगा में विसर्जित करने का निर्णय लिया गया।
गुरुवार को संयुक्त किसान मोर्चा के नेता जगतार सिंह बाजवा और कर्म सिंह पड्डा ने गुरुद्वारा आवास विकास दशमेश नगर सभागार में किसान संगठनों की बैठक की। इसमें तीन अक्तूबर को लखीमपुर खीरी में कार से किसानों को कुचलने की घटना को अंजाम देने के बाद शहीद किसानों एवं शहीद पत्रकार की अस्थि कलश यात्रा निकालने पर मंथन किया। निर्णय लिया कि 21 अक्तबूर से लखीमपुर खीरी किसान-पत्रकार अस्थि कलश यात्रा खटीमा से प्रारंभ होगी और शाम को सितारगंज में रुकेगी। इसके अलावा 22 अक्तूबर को सितारगंज से कलश यात्रा किच्छा, रुद्रपुर से होती हुई गदरपुर से बाजपुर आकर रुकेगी। 23 अक्तूबर को यात्रा बाजपुर से जसपुर प्रस्थान करेगी और रात्रि को वहीं रुकेगी। 24 अक्तूबर को किसान अस्थि कलश यात्रा जसपुर से सीधे हरिद्वार के रवाना होगी। जहां विधि-विधान से अस्थि विसर्जन किया जाएगा। बैठक में निर्णय लिया गया कि लोकतांत्रिक तरीके से कार्यक्रमों के विरोध के दौरान यदि किसी भी किसान या किसान नेता पर मुकदमा दर्ज कर प्रताड़ित करने की कोशिश की जाएगी, तो सड़कों पर उतरकर उग्र विरोध प्रदर्शन किया जाएगा। कृषि कानूनों के विरोध में संयुक्त किसान मोर्चा के आदेशानुसार ही आंदोलन किया जाएगा। बाजवा ने बताया कि लखीमपुर खीरी अस्थि कलश यात्रा को लेकर एक कमेटी भी बनाई गई है। जिसमें सभी संगठनों के पदाधिकारी होंगे और यात्रा के रूट सहित कई निर्णय लेने का अधिकार इस कमेटी को दिया गया है। इस मौके पर भाकियू चढूनी के जिलाध्यक्ष साहब सिंह सेखों, अमन ढिल्लों, राजेंद्र सिंह, कमल पांडे, दिनेश चंद्र, सुखविंदर सिंह, हरजिंदर सिंह, गुरसेवक सिंह, मंजीत सिंह आदि मौजूद रहे।