लखनऊ। राजेन्द्र तिवारी
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को काबुल नदी के जल को गंगाजल के साथ मिलाकर राम जन्मभूमि का जलाभिषेक किया। यह जल काबुल की एक बालिका ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भेजा था। प्रधानमंत्री ने इस जल को राम जन्मभूमि में समर्पित करने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को भेजा।
मुख्यमंत्री अफगानिस्तानी बालिका की इच्छा का सम्मान करते हुए खुद जल कलश को अयोध्या ले गए। उन्होंने उसमें गंगाजल मिला कर पहले रामलला का जलाभिषेक किया और फिर राम मंदिर के गर्भगृह में अर्पित किया। मुख्यमंत्री ने राम जन्मभूमि परिसर में चल रहे निर्माण कार्य का अवलोकन भी किया। तकनीकी विशेषज्ञों ने नक्शे के जरिए मंदिर निर्माण प्रक्रिया की जानकारी मुख्यमंत्री को दी।
इससे पहले मुख्यमंत्री योगी ने लखनऊ में पत्रकारों से कहा कि अफगानिस्तान में तालिबान के आने के बाद वहां के हालात कैसे हैं, यह किसी से छिपा नहीं है। फिर भी कोई बालिका अपनी जान की परवाह किए बगैर श्री राम जन्मभूमि को समर्पित करने के लिए काबुल नदी का जल भेजती है तो यह अभिनंदनीय है। गर्व की बात है। हम उस बालिका, और उसके परिवार की भावनाओं का सम्मान करने के लिए, उस भावना के लिए विशेष रूप से अयोध्या जा रहे हैं। मैं उन लोगों के जीवन के सफल होने की कामना करूंगा। काबुल से उस बालिका ने वहां पर भय के माहौल में जी रहीं तमाम महिलाओं के दर्द को भेजा है। मुझे उन सभी महिलाओं और बालिकाओं की पीड़ा को भारत की संवेदना से जोड़ते हुए आज मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम की इस जन्मस्थली पर इस जल को अर्पित करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ है।