अहमदाबाद। गरीब सवर्णों को आरक्षण देने वाला पहला राज्य गुजरात होगा। मोदी सरकार के सवर्ण आरक्षण बिल को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने मंजूरी दे दी है। शनिवार को राष्ट्रपति ने इस विधेयक पर हस्ताक्षर कर दिए हैं। इसके साथ ही सरकारी नौकरियों और शैक्षाणिक संस्थानों में दस फीसदी आरक्षण का रास्ता साफ हो गया है।
गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रुपानी ने यह जानकारी दी कि राज्य में इस आरक्षण को सरकारी नौकरी और शिक्षण संस्थानों में 14 जनवरी से लागू कर दिया जाएगा। इसका फायदा आर्थिक रूप से कमजोर सवर्णों को मिलेगा।
गौरतलब है कि केंद्रीय विधि एवं न्याय मंत्रालय की ओर से शनिवार को जारी अधिसूचना में कहा गया कि संविधान (103वां संशोधन) अधिनियम, 2019 को राष्ट्रपति की मंजूरी मिल गई है। संविधान (103वां संशोधन) अधिनियम के जरिए संविधान के अनुच्छेद 15 और 16 में संशोधन किया गया है। इसके जरिए एक प्रावधान जोड़ा गया है जो राज्य को नागरिकों के आर्थिक रूप से कमजोर किसी तबके की तरक्की के लिए विशेष प्रावधान करने की अनुमति देता है।