बीजिंग।
चीन ने विवादित दक्षिण चीन सागर में शुक्रवार से पांच दिनों का नौसैनिक अभ्यास शुरू कर दिया।
चीनी अखबार ग्लोबल टाइम्स ने लिखा है कि चीनी सैन्य अभ्यास हालिया उकसावे की प्रतिक्रिया के रूप में काम करेगा। यह दर्शाता है कि चीन के पास भेड़ियों के खिलाफ राइफलें तैयार हैं, जो चीन के मूल हितों के लिए भूखी हैं। चीन शुक्रवार से मंगलवार तक दक्षिण चीन सागर में सैन्य प्रशिक्षण आयोजित करेगा, और अन्य जहाजों को नेविगेशन प्रतिबंध क्षेत्र में प्रवेश करने की मनाही है।
भारतीय नौसेना भी अगस्त में दक्षिण चीन सागर के पश्चिमी प्रशांत और दक्षिण पूर्व एशिया क्षेत्र में चार युद्धक पोतों की तैनाती करने जा रही है, जो वहां दो महीने से अधिक समय तक रहेंगे। इसका उद्देश्य सामरिक रूप से महत्वपूर्ण समुद्री मार्ग पर निगरानी बढ़ाना है। तैनाती के दौरान भारतीय पोत जापान, ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका के साथ मिलकर मालाबार अभ्यास के अगले संस्करण में हिस्सा लेंगे। यह जानकारी भारतीय नौसेना के प्रवक्ता कमांडर विवेक मधवाल ने दो अगस्त को दी थी। क्वाड समूह के देशों के अभ्यास के बारे में चीन के विदेश मंत्रालय ने शुक्रवार को एक बयान जारी कर कहा, चीन को उम्मीद है कि संबंधित देशों के युद्धपोत अंतरराष्ट्रीय कानून का ईमानदारी से पालन करेंगे, दक्षिण चीन सागर के किनारे देशों की संप्रभुता, अधिकारों और हितों का सम्मान करेंगे और क्षेत्रीय शांति और स्थिरता को नुकसान पहुंचाने से बचेंगे। समुद्री सुरक्षा प्रशासन की तरफ से इस हफ्ते जारी एक बयान में बताया गया कि चीन शुक्रवार से मंगलवार तक एससीएस में सैन्य अभ्यास करेगा और नौवहन प्रतिबंध क्षेत्र में अन्य पोतों का प्रवेश वर्जित रहेगा।