लखनऊ। राजेंद्र तिवारी
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि अयोध्या की दीपावली को समूचे विश्व के समक्ष महोत्सव के रूप में स्थापित किया गया है। उन्होंने कहा कि दीपोत्सव अब अयोध्या का विशेष पर्व बन गया है। दुनिया के सामने इस पर्व ने नई पहचान बनाई है। इस वर्ष दीपोत्सव के मौके पर साढ़े सात लाख दीपक प्रज्जवलित कर नया विश्व रिकार्ड बनाया जाएगा।
मुख्यमंत्री योगी रविवार को भाजपा पिछड़ा मोर्चा के अवध विश्वविद्यालय के संत कबीर सभागार में आयोजित प्रदेश कार्यसमिति की बैठक के समापन सत्र को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि पहले कोई मुख्यमंत्री अयोध्या नहीं आना चाहता था। उन्हें साम्प्रदायिकता का लेप लग जाने का डर सताता था। वर्ष 2017 में मुख्यमंत्री बनने के बाद मैने अयोध्या के संतों की सहमति से दीपोत्सव की शुरुआत की। इस बार दीपोत्सव में जो दीपक प्रज्जवलित होंगे वे अयोध्या में ही बनाए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि मौजूदा समय में प्रजापति समाज चीन से अच्छी और सस्ती मूर्तियों का निर्माण कर रहा है। प्रजापति समाज को सरकार ने इलेक्ट्रानिक और सोलर चॉक उपलब्ध कराया है। इससे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आत्मनिर्भर भारत की परिकल्पना साकार हो रही है।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि पहले उत्तर प्रदेश में सरकारी नौकरी निकलती थी तो खानदान वसूली के लिए निकल पड़ता था। किसी भी युवा को उसका हक ईमानदारी से नहीं मिलता था। भाजपा की सरकार में बिना भेदभाव के साढ़े चार लाख युवाओं को नौकरी दी गई। इसमें आरक्षण का भी पालन किया गया। उन्होंने कहा कि पहले की सरकारें विभाजन में विश्वास करती थीं। वर्ष 2012 से 2017 के बीच हर चौथे दिन कहीं न कहीं दंगे होते थे। इससे अयोध्या में भी वंचित नहीं थी। यहां दुर्गापूजा का जुलूस नहीं निकालने दिया गया। पश्चिम उत्तर प्रदेश में कांवड़ यात्रा रोक दी जाती थी। अब कोई ऐसा दुस्साहस नहीं कर सकता। सरकार ने ऐसे आयोजनों को पूरी स्वतंत्रता के साथ सुरक्षा भी प्रदान की है। अब शिव भक्तों पर कांवड़ यात्रा के दौरान पुष्प वर्षा की जाती है। भाजपा की सरकार में पश्चिम उत्तर प्रदेश में चार वर्षों तक लगातार कांवड़ यात्रा निकाली गयी। इसमें हर वर्ष चार करोड़ से अधिक लोग शामिल हुए। उन्होंने कहा कि आस्था के साथ खिलवाड़ नहीं किया जा सकता। इसमें व्यवस्था बाधक नहीं बन सकती।