देहरादून। अनीता रावत
राज्यपाल बेबीरानी मौर्य ने उत्तराखंड लोक सेवा अध्यादेश को मंजूरी देते हुए उत्तराखंड में गरीब सवर्णों को सरकारी नौकरियों में 10 फीसदी आरक्षण लागू कर दिया है। अध्यादेश में प्रावधान है कि जानबूझकर इसका उल्लंघन करने वाले नियुक्त प्राधिकारी या अधिकारी को तीन माह तक की जेल और 20 हजार रुपये तक का जुर्माना हो सकता है। इस संबंध में प्रमुख सचिव डीपी गैरोला ने बुधवार को विधेयक जारी कर दिया है। इससे प्रदेश के सवर्ण वर्ग के युवाओं को लाभ मिलेगा।