अहमदाबाद। डेयरी सेक्टर की रीड़ हैं पशुपालक महिलाएं। दुनिया में दुग्ध क्षेत्र सिर्फ दो फीसदी की दर से आगे बढ़ रहा है, जबकि भारत में डेयरी सेक्टर छह प्रतिशत की दर से आगे बढ़ रहा है। यह बातें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुजरात में कहीं। उन्होंने कहा कि आज अमूल भारत के पशुपालकों के सामर्थ्य की पहचान बन चुका है। पीएम मोदी अहमदाबाद के मोटेरा में गुजरात सहकारी दुग्ध विपणन महासंघ (जीसीएमएमएफ) के स्वर्ण जयंती समारोह में लोगों को संबोधित कर रहे थे।
समारोह में पीएम मोदी ने कहा कि भारतीय दुग्ध क्षेत्र का कुल कारोबार 10 लाख करोड़ रुपये है, जो धान, गेहूं और गन्ना उत्पादन के संयुक्त कारोबार से बहुत अधिक है। आज अमूल दुनिया की आठवीं सबसे बड़ी डेयरी कंपनी है। आपको इसे जल्द से जल्द दुनिया की सबसे बड़ी डेयरी कंपनी बनाना है। सरकार हर तरह से आपके साथ खड़ी है और ये मोदी की गारंटी है। इस दौरान पीएम ने महिलाओं का जिक्र करते हुए कहा कि इस क्षेत्र में महिलाएं सबसे आगे हैं। डेयरी क्षेत्र में कार्यरत कुल कार्यबल में से 70 प्रतिशत महिलाएं हैं। महिलाओं के योगदान की वजह से अमूल नई ऊंचाइयों पर पहुंचा है। भारत को एक विकसित देश बनाने के लिए जरूरी है कि महिलाओं की आर्थिक शक्ति बढ़े। प्रधानमंत्री ने कहा कि आजादी के बाद भारत में जितने भी ब्रांड उभरे हैं, उनमें अमूल सबसे लोकप्रिय ब्रांड है। उन्होंने कहा, अमूल यानी बड़े सपने, बड़े संकल्प और उससे भी बडी सिद्धियां। आज दुनिया के 50 से ज्यादा देशों में अमूल के उत्पाद को निर्यात किया जाता है। 18 हजार से ज्यादा दुग्ध सहकारी मंडली, 36 लाख किसानों का नेटवर्क, हर दिन साढ़े तीन करोड़ लीटर से ज्यादा दूध का संग्रहण और हर रोज पशुपालकों को 200 करोड़ रुपये से अधिक का ऑनलाइन पेमेंट करना। यह आसान नहीं है। उन्होंने कहा कि छोटे-छोटे पशुपालकों की ये संस्था, आज जिस बड़े पैमाने पर काम कर रही है वही तो संगठन और सहकार की शक्ति है। प्रधानमंत्री ने कहा, केंद्र में मौजूद पहले की सरकारें गांवों की जरूरतों को टुकड़ों में देखती थीं, जबकि उनकी सरकार का ध्यान छोटे किसानों के जीवन को सुधारने पर है। उन्होंने कहा, मजबूत ग्रामीण अर्थव्यवस्था होना जरूरी है। हमारा ध्यान छोटे किसानों के जीवन को बेहतर बनाने, पशुधन के स्वास्थ्य में सुधार लाने और मछली तथा मधुमक्खी पालन जैसी संबद्ध गतिविधियों के माध्यम से किसानों की आय में सुधार करने पर है। इस दौरान खेतों में सौर पैनल लगाने और बायोगैस संयंत्रों की स्थापना का जिक्र करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार ‘अन्नदाता’ को ऊर्जादाता’ और ‘उर्वरकदाता’ में बदलना चाहती है। मोदी ने कहा कि उनके नेतृत्व वाली भाजपा सरकार ने सहकारी समितियों की मदद के लिए एक लाख करोड़ रुपये का कोष बनाया है। वहीं मवेशी पालन से जुड़े बुनियादी ढांचे को मजबूत करने के लिए 30,000 करोड़ रुपये का एक और कोष भी बनाया गया है। इस दौरान प्रधानमंत्री ने पांच नई डेयरी परियोजनाओं का उद्घाटन किया। इसमें साबर डेयरी का एक आधुनिक पनीर संयंत्र, आणंद में अमूल डेयरी का एक दीर्घकालिक टेट्रा पैक दूध संयंत्र और इसके चॉकलेट संयंत्र का विस्तार शामिल है। साथ ही कच्छ में सरहद डेयरी के 50 हजार लीटर आइसक्रीम संयंत्र का भी उद्घाटन किया, जो मुंबई में भरूच डेयरी की एक इकाई है।