नई दिल्ली। पैसे लेकर सवाल पूछने’ के आरोप के मामले में लोकसभा की आचार समिति की रिपोर्ट के आधार पर टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा को लोकसभा की सदस्यता से शुमामले में क्रवार को निष्कासित कर दिया गया।
तृणमूल सांसद महुआ मोइत्रा पर पैसा लेकर सवाल पूछने का आरोप भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने 26 अक्तूबर को लगाया था। मामले की जांच की लोकसभा की आचार समिति ने की। समिति ने अपनी रिपोर्ट में तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा को सदन की सदस्यता से निष्कासित करने की सिफारिश की थी।शुक्रवार को आचार समिति के अध्यक्ष विनोद सोनकर ने जैसे ही सदन में यह रिपोर्ट पेश की। रिपोर्ट पेश होते ही कांग्रेस और तृणमूल के सदस्य आसन के करीब पहुंच गए और नारे लगाते हुए रिपोर्ट की प्रति दिए जाने की मांग करने लगे। इस रिपोर्ट पर चर्चा हुई। चर्चा के दौरान कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि 406 पन्नों की रिपोर्ट इतनी जल्दी कैसे पढ़ें, इसे पढ़ने के लिए 3-4 दिन का समय दिया जाए। चर्चा के दौरान भाजपा सांसद हिना गावित ने दावा किया कि 47 बार दुबई से महुआ मोइत्रा का अकाउंट लॉगइन हुआ। जबकि, नियम में साफ लिखा है कि अपना संसदीय आईडी पासवर्ड किसी के साथ शेयर नहीं किया जा सकता। चार अलग-अलग शहरों से महुआ का अकाउंट लॉगइन हुआ। वहीं, कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने कहा कि यह बहुत ही संवेदनशील मामला है। महुआ मोइत्रा को अपनी पूरी बात कहने का मौका मिलना चाहिए। लोकसभा अध्यक्ष ने संसदीय परंपरा का हवाला देते हुए महुआ को बोलने का मौका देने से इनकार कर दिया। चर्चा के बाद संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने महुआ मोइत्रा के निष्कासन का प्रस्ताव पेश किया, जिसे सदन ने ध्वनिमत से मंजूरी दे दी। इसके विरोध में कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस के साथ अधिकांश विपक्ष के सदस्य सदन से बाहर चले गए। गौरतलब है कि भाजपा सांसद विनोद कुमार सोनकर की अध्यक्षता वाली आचार समिति की रिपोर्ट के अनुसार महुआ ने अपने लोकसभा पोर्टल की यूजर आईडी और पासवर्ड अनधिकृत व्यक्तियों के साथ साझा करके सदन की अवमानना की है। राष्ट्रीय सुरक्षा की लिहाज से भी यह गंभीर मसला है। समिति के छह सदस्यों ने रिपोर्ट के पक्ष में मतदान किया था। इनमें कांग्रेस से निलंबित सांसद परणीत कौर भी शामिल थीं। जबकि, समिति के चार विपक्षी सदस्यों ने रिपोर्ट पर असहमति नोट दिए थे। विपक्षी सदस्यों का कहना था कि महुआ मोइत्रा पर लगाए गए आरोपों में पुख्ता सबूत नहीं हैं।