लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि सात वर्ष में यूपी की छवि बदली है। यह नये भारत का नया उत्तर प्रदेश है। विकसित भारत का विकसित उत्तर प्रदेश है। पहले यूपी बीमारू राज्य और देश के विकास में बैरियर माना जाता था। यूपी अब बीमारू राज्य की श्रेणी से उबर कर असीमित संभावनाओं वाला राज्य बन चुका है। इन सात वर्षों में ही राज्य की अर्थव्यवस्था दोगुनी होने के साथ ही प्रति व्यक्ति आय भी दोगुनी हो चुकी है।
इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी के दूसरे दिन मंगलवार को मुख्यमंत्री ने उत्तर प्रदेश-निवेश प्रदेश के तहत एफडीआई कॉन्क्लेव ‘यूपी-इमर्जिंग डेस्टिनेशन फॉर फॉरेन इनवेस्टमेंट इन इंडिया’ को संबोधित किया। जिसमें उन्होंने कहा कि हमारे पास प्रकृति भी है, परमात्मा भी है और प्रतिभा से भरपूर युवा भी हैं। इस त्रिवेणी के माध्यम से पीएम के मार्गदर्शन व नेतृत्व में हम यूपी को आगे बढ़ा रहे हैं। मुख्यमंत्री ने विश्वास दिलाया कि पीएम द्वारा दिए गए लक्ष्यों को प्रदेश सरकार समयबद्ध तरीके से प्राप्त करेगी और पीएम के संकल्पों के अनुरूप यूपी भारत के ग्रोथ इंजन के रूप में स्थापित करने की प्रतिबद्धता के साथ आगे बढ़ेगा। उन्होंने कहा कि यूपी को बीमारू राज्य से उबारने में सफलता मिली तो इसके पीछे पीएम का विजन था, जिसे हमने मिशन के रूप में लेकर प्रभावी ढंग से अलग-अलग सेक्टर की 25 नीतियां बनाई और कानून-व्यवस्था की बेहतर स्थिति देकर माहौल बदला। जिसका परिणाम है कि उत्तर प्रदेश अब देश की दूसरी बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुका है। रेवेन्यू सरप्लस स्टेट के रूप में स्थापित है। यूपी एफडीआई व फॉर्चून ग्लोबल 500 प़ॉलिसी लेकर आने वाला देश का पहला राज्य बन चुका है। मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2000 से लेकर 2017 (17 वर्ष) तक जितना विदेशी निवेश (एफडीआई) राज्य में आया था, 2019 से 2023 के बीच में उसका चार गुना एफडीआई यूपी में आ चुका है। जब सुरक्षा का माहौल, सरकार की स्पष्ट नीति व नीयत साफ होती है तो निवेशक सुरक्षित वातावरण में निवेश का इच्छुक होता है। य़ह वातावरण आज यूपी में दिख रहा है। उन्होंने कहा कि सैमसंग, माइक्रोसॉफ्ट, एलजी, पेप्सिको, नायरा एनर्जी, रिलायंस इंडस्ट्रीज, टाटा, हिंदुस्तान यूनीलीवर, हायर, आइकिया समेत 14 फॉर्च्यून ग्लोबल 500 कंपनियां यूपी में सफलता पूर्वक बिजनेस बढ़ाने का कार्य कर रही हैं। यूपी ने जब जीआईएस 2023 का आयोजन किया था तो 400 बिलियन यूएस डॉलर के निवेश प्रस्ताव यूपी के एफडीआई के ड्रीम डेस्टिनेशन के रूप में उभरने के नए संकेत थे। चैलेंज को ध्यान में रखते हुए हमने पॉलिसी बनाई है। जिसके तहत लैंड-कैपिटल सब्सिडी, स्टांप व रजिस्ट्रेशन, इलेक्ट्रिसिटी ड्यूटी में छूट दी है। यूपी फॉर्च्यून ग्लोबल 500 कंपनियों के लिए नया ड्रीम डेस्टिनेशन बनकर उभरा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि यूपी ने नया प्रयास प्रारंभ किया है। पहले यहां शासन व विभागों के मकड़जाल में फाइल उलझ जाती थीं। आज सिंगल विंडो पोर्टल ‘निवेश मित्र’ सेवा के लिए समर्पित है। एमओयू मॉनीटरिंग के लिए ‘निवेश सारथी’ पोर्टल निवेशकों की सेवा के लिए कार्य कर रहा है। यूपी में निवेशकों के लिए इन्सेंटिव मॉनीटरिंग सिस्टम प्रभावी ढंग से कार्य कर रहा है। तकनीक का उपयोग करते हुए आपकी समस्या के समाधान के लिए इसे और भी अच्छा बनाने का प्रयास किया गया है। सीएम ने कहा कि यूपी अपने निवेशकों के हितों को संरक्षण देने के लिए तैयार है। निवेशकों को आश्वस्त किया कि उनका निवेश यूपी में सुरक्षित होगा और बिजनेस का नया आयाम प्रदान करने में योगदान देगा।
इस अवसर पर केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल, यूपी कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल गुप्ता ‘नंदी’, अनिल राजभर, राज्यमंत्री जसवंत सैनी, मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र, अवस्थापना व औद्योगिक विकास आयुक्त मनोज कुमार सिंह, प्रमुख सचिव अनिल कुमार सागर आदि मौजूद रहे। मुख्यमंत्री व केंद्रीय मंत्री समेत अन्य अतिथियों ने बुकलेट का विमोचन किया। लघु फिल्म के माध्यम से बदलते उत्तर प्रदेश की कहानी को दिखाया गया।