आदिगुरु शंकराचर्य का अद्वैत वेदांत आज भी प्रासंगिक : शंकराचार्य नरेंद्रानंद सरस्वती

लखनऊ। राजेन्द्र तिवारी आदिगुरु शंकराचार्य ने न सिर्फ वेदों को देश के हर कोने में पहुंचाया बल्कि सनातन धर्म के विरोध में बने धर्मों के मतों को भी उन्होंने शास्त्रार्थ से खारिज किया। आदिगुरु शंकराचार्य ने अद्वैत वेदान्त को आधार प्रदान किया। यही नहीं सनातन धर्म की विविध विचारधाराओं का एकीकरण् आदिगुरु शंकराचार्य ने ही […]

Continue Reading

शिव की सेवा ही साधना है : शंकराचार्य

नई दिल्ली। टीएलआई भगवान शिव की सेवा ही साधना है और जीवन में शिवपद की प्राप्ति ही साध्य है। वेदोक्त कर्म कर उसे शिव के चरणों में अर्पित करने से ही परमेश्वर की प्राप्ति होती है। उक्त बातें काशी सुमेरु पीठाधीश्वर शंकराचार्य स्वामी नरेंद्रानंद सरस्वती ने चंपारण में आयोजित नौ कुंडीय श्री अतिरुद्र महायज्ञ में […]

Continue Reading

शास्त्र के साथ शस्त्र की भी शिक्षा जरूरी : शंकराचार्य

नई दिल्ली। टीएलआई शिक्षा सिर्फ शास्त्रों की ही नहीं शस्त्रों की भी होती है। जिस तरह सम्मान के लिए शास्त्र की शिक्षा जरूरी है, उसी तरह आत्मरक्षा के लिए शस्त्र की शिक्षा भी जरूरी है। हर व्यक्ति को शास्त्र के साथ शस्त्र की भी शिक्षा लेनी चाहिए। यह बातें काशी सुमेरू पीठाधीश्वर शंकराचार्य नरेंद्रानंद सरस्वती […]

Continue Reading