मथुरा।
नया भारत संस्कारों को सशक्त करने वाला है। सबका साथ सबका विकास ही नए भारत का रास्ता है। जिस प्रकार मजबूत इमारत के लिए नीव का ठोस होना जरुरी है उसी प्रकार शक्तिशाली नए भारत के लिए पोषित और स्वस्थ बचपन का होना भी जरुरी है। यदि देश का बचपन कमजोर रहेगा तो उसके विकास की गति धीमी हो जाएगी। यह बात प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अक्षय पात्र फाउंडेशन के कार्यक्रम में मथुरा में कही।
मिली जानकारी के अनुसार सोमवार को अक्षय पात्र फाउंडेशन की तीन सौ करोड़वीं थाली के स्मरणोत्सव अवसर पर आयोजित समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि केंद्र सरकार ने बचपन के आस-पास मजबूत सुरक्षा चक्र बनाने का प्रयास किया है। इसके तीन पहलू हैं- खानपान, टीकाकरण और स्वच्छता। बदलती परिस्थितियों में पोषकता के साथ, पर्याप्त और अच्छी गुणवत्ता वाला भोजन बच्चों को मिले, ये सुनिश्चित किया जा रहा है। प्रधानमंत्री ने कहा अटलजी की सरकार में ये कार्यक्रम शुरू हुआ था। ये असाधारण सेवा, अतुलनीय समर्पण का काम है। इस मुके पर प्रधानमंत्री ने तीन सौ करोड़वीं थाली की स्मृति पट्टिका का अनावरण किया। सिर्फ बच्चों और मां पर बात अक्षय पात्र परिसर में आयोजित कार्यक्रम में प्रधानमंत्री ने सिर्फ बच्चों और मां पर बात की। उनके स्वास्थ्य को लेकर केंद्र सरकार की योजनाओं के बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि जब बच्चों के स्वास्थ्य की बात होती थी तो माताओं के दुख और तकलीफ को नजर अंदाज कर दिया जाता था। इस स्थिति को बदलने का प्रयास किया जा रहा है। स्वास्थ्य का सीधा संबंध पोषण से है, यदि हम पोषण के अभियान को हर माता तक पहुंचाने में सफल हुए तो अनेक जीवन बच जाएंगे। उन्होंने गीता के श्वलोक का उदाहण देते हुए कहा कि जो दान कर्तव्य समझकर उचित समय और योग्य व्यक्ति को दिया जाता है, उसे सात्विक दान कहते हैं। लाखों गरीब बच्चों को भोजन उपलब्ध करने के लिए उन्होंने अक्षय पात्र फाउंडेशन को साधुवाद और शुभकामनाएं दीं। बच्चों को कराया भोजनसभा के बाद पीएम मोदी ने 20 बच्चों को भोजन परोसा। उनके साथ भोजन भी ग्रहण किया।