नई दिल्ली । नीलू सिंह
लगातार दूसरी बार पूर्ण बहुमत से गैर कांग्रेसी सरकार बनाकर नरेंद्र मोदी ने इतिहास रच दिया। गुरुवार देर शाम 7:00 बजे नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री पद की शपथ ली। मोदी के बाद राजनाथ सिंह और उनके बाद अमित शाह ने पद और गोपनीयता की शपथ ली।
1984 में भाजपा रूपी जिस पौध की स्थापना अटल बिहारी बाजपाई और लालकृष्ण आडवाणी ने की थी वह आज वट बृक्ष की तरह दिखाई दे रही है। गुरुवार को राष्ट्रपति के रूप में भवन में जैसे ही नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री पद की शपथ ली पूरा राष्ट्रपति भवन तालियों से गूंज उठा। इस शपथ ग्रहण समारोह के साक्षी न सिर्फ हिंदुस्तान की नेता, संत और कारोबारी हुए बल्कि हिंदुस्तान के पड़ोसी राष्ट्रों के राष्ट्राध्यक्ष भी इस ऐतिहासिक क्षण के गवाह बने। धानमंत्री नरेंद्र मोदी के बाद राजनाथ सिंह नेकैबिनेट मंत्री के रूप में पद और गोपनीयता की शपथ ली। इसके बाद भाजपा अध्यक्ष और भाजपा के चाणक्य कहे जाने वाले अमित शाह ने पद और गोपनीयता की शपथ ली। अमित शाह के बाद नितिन गडकरी, उसके बाद निर्मला सीतारमण, रामविलास पासवान, नरेंद्र सिंह तोमर, रविशंकर प्रसाद ने भी कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली। इसके बाद प्रकाश सिंह बादल की बहू हरसिमरत कौर ने कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली। हरसिमरत कौर की सरकार में राज्य मंत्री के रूप में कार्य कर चुकी है। उनके बाद थावरचंद गहलोत ने कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली। थावर सिंह गहलोत पिछली सरकार में सामाजिक न्याय मंत्री के रूप में कार्य कर चुकेहै। चार दशकों तक विदेश सचिव रहे एस जयशंकर ने कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली। उसके बाद उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री रमेश पोखरियाल निशंक कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली। इसके बाद अर्जुन मुंडा, स्मृति ईरानी, डॉक्टर हर्षवर्धन ने कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली। इसके बाद प्रकाश जावड़ेकर ने भी कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली।