नई दिल्ली। भारत और स्पेन में नजदीकियां और बढ़ने की उम्मीद है। इसी उम्मीद से स्पेन के राष्ट्रपति सोमवार को भारत आ रहे हैं।
स्पेन के राष्ट्रपति पेड्रो सांचेज सोमवार को भारत यात्रा पर आ रहे हैं। 18 सालों के बाद स्पेन के किसी राष्ट्रपति की यह भारत यात्रा है। इससे पहले 2006 में स्पेन के तत्कालीन राष्ट्रपति जोस लुइस रोडिग्स भारत आए थे। भारत और स्पेन के राजनयिक संबंध 1956 में स्थापित हुए थे। तब से लगातार दोनों के संबंध मजबूत होते जा रहे हैं। इसी क्रम में राष्ट्रपति सांचेज सोमवार को सीधे वडोदरा पहुंचेंगे। वहां पीएम मोदी के साथ एयरबस टाटा के विमान निर्माण इकाई का शुभारंभ करेंगे। वह प्रधानमंत्री मोदी के साथ प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता भी करेंगे, जिसमें द्विपक्षीय संबंधों की पूरी श्रंखला शामिल होगी। वह वैश्विक मुद्दों पर भी अपने विचारों का आधान-प्रदान करेंगे। सांचेज मुंबई का भी दौरा करेंगे, जहां व्यापार और उद्योग जगत के लोगों, थिंक टैंक और फिल्म जगत के लोगों से वार्ता करेंगे। मोदी ने 2017 में स्पेन की यात्रा की थी। मोदी और सांचेज की मुलाकात इससे पहले कई मौकों पर हुई है। 2018 में ब्यूनस आयर्स और 2021 में रोम में जी-20 शिखर सम्मेलन में दोनों ने बैठकें की थीं। 15 फरवरी, 2023 को दोनों के बीच टेलीफोन पर वार्ता हुई थी। भारत और स्पेन का 2023 में द्विपक्षीय व्यापार 10 अरब डॉलर के करीब पहुंच गया है। इसमें भारत 7.5 अरब डॉलर का निर्यात करता है। जबकि आयात 2.5 अरब डॉलर का ही है। पिछले तीन-चार वर्षों में स्पेन ने भारत में चार अरब डॉलर से ज्यादा का निवेश किया है। स्पेन भारत में 16वां बड़ा निवेशक है। स्पेन की 230 से अधिक कंपनियां भारत में कार्य कर रही हैं, जबकि 80 भारतीय कंपनियां स्पेन में निवेश कर रही हैं दोनों देशों के बीच सांस्कृतिक संबंध भी मजबूत हैं। स्पेन में 75 हजार प्रवासी भारतीय रहते हैं। जो वार्सीलोना, मैड्रिड, कैटेलोनिया और केनरी द्वीपों में हैं। इसी के मद्देनजर हाल में भारत ने वार्सीलोना में वाणिज्यिक दूतावास का संचालन शुरू किया है। स्पेन भी बेंगलुरु में अपना वाणिज्यिक दूतावास खोलना चाहता है।