नई दिल्ली, देव कुमार।
आयुष चिकित्सा पैथियों में एक्यूप्रेशर को भी शामिल करने पर विचार चल रहा है। यह पैथी देश में प्रचलित तो है लेकिन अभी तक इसे आयुष चिकित्सा पैथियों के रूप में मान्यता नहीं है। सूत्रों के अनुसार एक्यूप्रेशर समेत कुछ और पैथियों की भी इसके लिए जांच की जा रही है। अभी तक सात चिकित्सा पैथियां आयुष के तहत आती हैं।
एक्यूप्रेशर भारत समेत कई देशों में प्रचलित एक वैकल्पिक चिकित्सा पद्धति है जिसमें हाथ, पैर और शरीर पर कुछ बिन्दुओं की पहचान की जाती है और उस पर दबाव डालकर दर्द, पाचन समेत कई बीमारियों का उपचार किया जाता है।
सूत्रों के अनुसार यदि इसे आयुष चिकित्सा पद्धति में शामिल किया जाता है तो इससे सबसे बड़ा फायदा यह होगा कि इसके चिकित्सकों को बेहतर प्रशिक्षण दिया जा सकेगा तथा उन्हें प्रमाण पत्र जारी होंगे। इससे लोगों को प्रशिक्षित एक्यूप्रेशर डॉक्टर उपलब्ध होगा। साथ ही उपचार प्रक्रिया के लिए विभिन्न प्रकार के मानक भी तय होंगे।
मौजूदा समय में आयुष के तहत मान्य चिकित्सा पद्धतियों में आयुर्वेद, होम्योपैथी, यूनानी, योग, सिद्ध, प्राकृतिक चिकित्सा, सोवा रिग्पा शामिल हैं।