सपा संग गठबंधन : अमेठी समेत यूपी में 17 सीटों पर चुनाव लड़ेगी कांग्रेस

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लखनऊ। लोकसभा चुनाव में कांग्रेस अमेठी समेत 17 सीटों पर अपना प्रत्याशी उतारेगी। इंडिया गठबंधन के तहत सपा और कांग्रेस के बीच मंगलवार देर रात सीटों का बंटवारा हो गया। हालांकि सपा ने वाराणसी से अपने प्रत्याशी की घोषणा कर चुकी है। अब गठबंधन होने के बाद अपने प्रत्याशी को सपा वापस लेगी।
यूपी में इंडिया गठबंधन घटक दल के रूप में कांग्रेस और सपा साथ मिलकर चुनाव लड़ेंगे। कांग्रेस के हिस्से में अमेठी समेत 17 सीटें आई हैं, इनमें अधिकतर उसकी परंपरागत हैं। शेष 63 सीटों पर सपा व उसके अन्य घटक दल के उम्मीदवार चुनाव लड़ेंगे। कांग्रेस ने मध्य प्रदेश में खुजराहो सीट सपा को दी है। सूत्रों की माने तो गठबंधन की गांठें सुलझाने में मुख्य रूप से प्रियंका गांधी और अखिलेश की भूमिका रही है। फोन पर हुई बातचीत के बाद दोनों में सहमति बनी। सपा अब तक 31 सीटों पर उम्मीदवारों की घोषणा कर चुकी है। कांग्रेस के हिस्से में आने वाली सीटों से सपा अपने उम्मीदवार वापस लेगी। बताया जा रहा है कि कांग्रेस
रायबरेली, अमेठी, कानपुर नगर, फतेहपुर सीकरी, बासगांव, सहारनपुर, प्रयागराज, महाराजगंज, वाराणसी, अमरोहा, झांसी, बुलंदशहर, गाजियाबाद, मथुरा, सीतापुर, बाराबंकी व देवरिया से चुनाव लड़ेगी। कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव व यूपी प्रभारी अविनाश पांडेय ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि कांग्रेस और सपा के बीच सीटों की शेयरिंग हो गई है। दोनों पार्टियों के राष्ट्रीय अध्यक्ष द्वारा बनाई गई कमेटियों की कई दौर की बैठकों में यह सहमति बनी है। उन्होंने बताया कि कांग्रेस के हिस्से में 17 और इंडिया गठबंधन के हिस्से में 63 सीटें आई हैं। यह गठबंधन देश को बचाने के लिए चुनाव लड़ेगा। सपा के प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम पटेल ने सीटों के बंटवारे की जानकारी दी और बताया कि कांग्रेस के हिस्से में कौन-कौन सी सीटें आई हैं। उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव में अब कम समय है। इंडिया गठबंधन महंगाई, भ्रष्टाचार, बेरोजगारी, किसानों की समस्याओं के मुद्दे पर चुनाव लड़ेगा। गठबंधन के चुनाव प्रचार का कार्यक्रम वरिष्ठ नेता आपस में मिलकर तय करेंगे। सपा और कांग्रेस दोनों एक-दूसरी पार्टी के उम्मीदवारों को चुनाव जिताने के लिए प्रचार करेंगे। सपा हमेशा आर्थिक और सामाजिक विषमता को समाप्त करने के लिए काम करती है। कांग्रेस और सपा की ओर से सहयोगी छोटे दलों को सीटें देने की स्थिति भी साफ की गई। आजाद समाज पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चंद्रशेखर आजाद को नगीना लोकसभा सीट देने के सवाल पर बताया गया कि कुछ दल विशेष जाति का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। आगे चलकर ऐसे दलों को भी टिकट देने पर चर्चा की जाएगी।

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