वन्य जीव तस्करों को पहचानने में सक्षम हैं अफ्रीकी चूहे

अंतरराष्ट्रीय

केपटाउन। अब तक सूंघ कर पहचान करने के लिए कुत्ते जाने जाते थे लेकिन अब इनकी जगह अफ्रीकी चूहे आ गए हैं। एक नए अध्ययन में पता चला है कि हाथी के दांत, गैंडे के सिंग, पैंगोलिन के चमड़े जैसी अवैध वस्तुओं को पहचानने में अफ्रीका के चूहे माहिर होते हैं। अपनी सूंघने की इस क्षमता के लिए मशहूर अफ्रीकी विशाल थैली वाले चूहे अब वन्यजीव तस्करी को रोकने में अहम भूमिका निभाएंगे। डेढ़ से दो किलोग्राम वजन के ये विशाल अफ्रीकी चूहे सामान्य चूहों से आकार में तीन-चार गुना बड़े होते हैं। दक्षिणी अफ्रीका के सवाना में पाए जाने वाले इन चूहों को प्रशिक्षण देने वाले लोगों ने इन्हें ‘हीरो’ नाम दिया है। इन खास चूहों को वैज्ञानिकों ने तस्करों को पकड़ने में मदद के लिए प्रशिक्षित किया है। ‘फ्रंटियर्स इन कंजरवेशन साइंस’ पत्रिका में प्रकाशित एक अध्ययन के मुताबिक ये चूहे दुर्लभ वन्य जीवों और पौधों की तस्करी रोकने में बड़े हथियार बन सकते हैं। पूर्वी अफ्रीका के तंजानिया में 2017 से 2021 के बीच 11 चूहों पर किए गए एक अध्ययन में पता चला कि ये चूहे अवैध सामग्री को दूसरे पदार्थों में छिपाए जाने के बाद भी पहचान सकते हैं। जर्मनी के ओकेनोस फाउंडेशन की वैज्ञानिक डॉ. इसाबेल सॉट ने बताया कि इन चूहों की गजब की याददाश्त होती है, जिससे वे आठ महीने बाद भी गंध पहचान सकते हैं।

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